मोहिता जगदेव
उग्र प्रभा समाचार, छिंदवाड़ा
चौरई में शिक्षक सम्मान समारोह संपन्न
विद्यार्थियों को भारतबोध कराएं शिक्षक- मुख्य अतिथि और मुख्य वक्ता डॉ.द्विवेदी
भारतीयता और मूल्यों के विकास से ही देश बनेगा जगद्गुरु- डॉ.द्विवेदी
शिक्षण कार्य महज आजीविका चलाने का माध्यम नहीं है। यह बहुत ही जिम्मेदारी भरा काम है।:प डाॅ. संजय द्विवेदी
उग्र प्रभा समाचार, छिन्दवाड़ा: 08 सितम्बर 2024/ माखनलाल चतुर्वेदी पत्रकारिता एवं संचार विश्वविद्यालय भोपाल के जनसंचार विभाग के आचार्य और भारतीय जनसंचार संस्थान नई दिल्ली के पूर्व महानिदेशक प्रोफेसर डॉ.संजय व्दिवेदी ने कहा कि शिक्षक ही अपने विद्यार्थियों में जीवन मूल्यों और संस्कृति को प्रवाहित करते हैं। देश को जगद्गुरु बनाने के लिए शिक्षक समुदाय को आगे आने की जरूरत है। शिक्षकों का दायित्व है कि वे विद्यार्थियों को भारतबोध करायें। डॉ.व्दिवेदी आज छिंदवाड़ा जिले के चौरई के अन्नपूर्णा मैरिज लान में आयोजित शिक्षक सम्मान समारोह को मुख्य अतिथि एवं मुख्य वक्ता के रूप में संबोधित कर रहे थे। कार्यक्रम की अध्यक्षता राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के विभाग संघ चालक छिन्दवाड़ा श्री भजनलाल चोपड़े ने की तथा पूर्व विधायक श्री गंभीर सिंह चौधरी, विधानसभा प्रभारी श्री लखन वर्मा, नगर पंचायत चांद अध्यक्ष श्री दानसिंह ठाकुर, नगर पंचायत बिछुआ अध्यक्ष श्री रामचंद्र बोबड़े, नगर पंचायत बिछुआ की पूर्व अध्यक्ष श्रीमती दीपिका चोपड़े, लोधी समाज के अध्यक्ष श्री अतरलाल वर्मा एवं वरिष्ठ समाजसेवी सर्वश्री अजब सिंह लोधी व हरिश्चंद पटेल विशेष अतिथि के रूप में उपस्थित थे।मुख्य अतिथि एवं मुख्य वक्ता प्रो.संजय व्दिवेदी ने कहा कि शिक्षण कार्य महज आजीविका चलाने का माध्यम नहीं है। यह बहुत ही जिम्मेदारी भरा काम है। शिक्षक विद्यार्थियों को सही मायने में जीवन जीने की कला सिखाता है। उन्होंने कहा कि शिक्षक विद्यार्थियों की छिपी हुई प्रतिभा को सामने लाने और उसे निखारने का कार्य करता है। सभी शिक्ष विद्यार्थियों को भारतीय जीवन मूल्यों और नैतिक शिक्षा से शिक्षित करें । उन्होंने कहा कि नई शिक्षा नीति में भारतीय जीवन मूल्यों को समाहित करने के साथ ही पर्यावरण संरक्षण और सामाजिक समरसता को शामिल किया गया है, जिससे युवा पीढ़ी जागरूक होकर सामाजिक परिवर्तन में अपना योगदान दे सके । शिक्षक इस नई शिक्षा नीति के अनुरूप भी विद्यार्थियों को मार्गदर्शन दें। उन्होंने कहा कि शिक्षा के व्यवसायीकरण के स्थान पर जीवन मूल्यों पर आधारित शिक्षा को महत्व दिया जाना चाहिये, जिससे विद्यार्थी अपने जीवन में सफल होकर नये समाज और देश के निर्माण में अपना योगदान दे सके । उन्होंने कहा कि विद्यार्थियों को मातृभाषा में शिक्षा दी जाना चाहिये। उन्होंने बताया कि मध्यप्रदेश एक ऐसा राज्य बन गया है जो चिकित्सा और इंजीनियरिंग के क्षेत्र में विद्यार्थियों को अंग्रेजी के स्थान पर हिंदी में शिक्षा दे रहा है। उन्होंने कहा कि भारतीय संस्कृति में जीवन मूल्यों, नैतिक शिक्षा, मातृभूमि व मातृभाषा के प्रति स्नेह और आचार-विचारों का स्थान पहले से रहा है तथा विदेशों से शिक्षा ग्रहण करने के बाद भी भारतीय व्यक्ति न केवल विदेशों में बल्कि भारत में भी अपनी संस्कृति का परिचय दे रहे है । यही वजह है कि विदेशों में भारत और भारतीयों का नाम सम्मान के साथ लिया जाता है। कार्यक्रम में कार्यक्रम अध्यक्ष श्री चोपड़े, पूर्व विधायक श्री गम्भीर सिंह चौधरी व विधानसभा प्रभारी श्री लखन वर्मा ने भी संबोधित किया । जिला पंचायत छिन्दवाड़ा के पूर्व उपाध्यक्ष एवं कार्यक्रम संयोजक श्री शैलेन्द्र रघुवंशी (बबलू पटेल) ने अतिथियों का स्वागत करते हुये अपना स्वागत उद्बोधन भी दिया। कार्यक्रम में सभी शिक्षकों और पत्रकारों का पुष्प माला, स्मृति चिन्ह और प्रशस्ति पत्र देकर सम्मान किया गया। इस अवसर पर वरिष्ठ पत्रकार श्री संदीप रघुवंशी, युवा पत्रकार श्री श्याम चौरसिया व श्री नितिन रघुवंशी भी उपस्थित थे।