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नाट्यगंगा रंगमंड़ल द्वारा आयोजित 40 दिवसीय कार्यशाला का भव्य समापन

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पाठ्य पुस्तक बाल भारती की कहानी व कविताओं का खूबसूरत मंचन 

बाल भारती का मंचन देख भावुक हुए दर्शक

दर्शकों की तालियों से बच्चों की मेहनत हुई सफल

उग्र प्रभा समाचार छिंदवाड़ा: हमारे जीवन का सबसे अच्छा समय हमारा बचपन होता है। हम में से प्रत्येक व्यक्ति एक बार अपने बचपन को फिर से जीना चाहता है पर यह संभव नहीं होता। पर यह मौका रविवार को नाट्यगंगा रंगमंडल ने अपने दर्शकों को दिया। नाट्यगंगा रंगमंडल के द्वारा आयोजित चालीस दिवसीय एक्टिंग वर्कशॉप के समापन अवसर पर बाल भारती नाटक का अविस्मरणीय मंचन किया गया। पाठ्य पुस्तक बाल भारती की कहानियों और कविताओं को इतनी खूबसूरती से मंच पर प्रदर्शित होता देख दर्शक अपने बचपन में खो गए। बचपन के गीत, खेल, कहानियों, किस्सों को याद कर जहां एक ओर दर्शक आनंदित हो गए तो वहीं दूसरी ओर भावुकतावश उनकी आंखें भी नम हो गईं। दर्शकों की संख्या इतनी अधिक रही कि बहुत से दर्शकों को खड़े होकर नाटक देखना पड़ा। नाटक में लालबुझक्कड़, गधा और पिता पुत्र, अंधा-लंगड़ा, सोने की कुल्हाड़ी, पंच परमेश्वर, चतुर सियार, शेर और चूहा आदि कहानियों के साथ ही धम्मक धम्मक आता हाथी, बडे़ सवेरे मुर्गा बोला, चल रे मटके टम्मक टू आदि गीतों एवं कविताओं का भी मंचन किया गया। नाटक का निर्देशन संस्था अध्यक्ष सचिन वर्मा ने किया।


 सारी कहानियों एवं गीतों को इतनी खूबसूरती से जोड़ा गया था कि लगभग सवा घंटे के नाटक में दर्शक खो से गए। दर्शकों का कहना था कि सचिन वर्मा ने बहुत ही प्यार से इस नाटक को बनाया है जिन कहानियों और गीतों को और इनकी सीखों को हम भूल गए थे उन्हें एक बार फिर तरोताजा कर दिया है। नाटक की कहानी के अनुरूप गीत एवं संगीत अमित सोनी ने दिया जिससे नाटक में चार चाँद लग गए। जिनका मार्गदर्शन अमजद खान ने किया। वहीं आर्या भारती के निर्देशन में किए गए नृत्यों ने नाटक को गति प्रदान की। नाटक का सहनिर्देशन दानिश अली, अर्शिल चिचाम, हर्ष यादव, प्रखर साहू और फैसल कुरैशी ने किया। वित्त व्यवस्था नीरज सैनी और सुवर्णा दीक्षित ने संभाली और मंच सामाग्री का सुंदर निर्माण मानसी मटकर और सौम्या दीक्षित ने किया। बैठक व्यवस्था पंकज सोनी, वैशाली मटकर, नितिन वर्मा, ऋषभ शर्मा, संजय औरंगाबादकर और ओशिन धारे ने की। मंच व्यवस्था स्वाति चौरसिया, विनोद प्रसाद ग्यास, अंकित खंडूजा ने संभाली। 
    इन कलाकारों ने किया अभिनय

प्रभदीप सिंग, आयुषी जैन, अर्नव परमार, नमन साहू, देशा मालवी, तुहिना जगदेव, मुदित गुन्हेरे, अवनि सोनी, आकाश घोरमारे, सनाया बुधराजा, हेमंत नांदेकर, रूपेश डेहरिया, नभ बचले, वत्सल वर्मा, सुहानी लांजीवार, हर्ष डेहरिया, सौरभ मालवीय, वरेण्यम् नागले, विभा सोनी, श्रुति आरोनकर, पुष्पराज ठाकरे, विनीत वर्मा, अनुष्का चौरसिया, अन्वेषा मंडल, अदितांश चौरसिया, श्रेया वर्मा, आर्या शुक्ला, रिया सूर्यवंशी, सार्थक सूर्यवंशी, तीर्थ तिवारी, वंशिका चौरसिया, कार्तिक नेमा, विदूषी नागले, अक्षदा देशपांडे, सारा फातिमा, समर्थ मालवी, तनय राजपूत, नित्या मालवी, अबीर वर्मा, अनुष्का पाठक, कर्णवीर सिंग राजपूत, अक्षदा साहू, ओशिका चौधरी ने इस नाटक में शानदार अभिनय किया।

   नर्तक दल

अश्मि सोनी, नियति शिवकर, सिद्धि घाघरे, अनन्या पाठक, पूर्णिमा नेमा, शांभवी गुप्ता, आरोही रत्नाकर, अनादि सोनी, अमोदनी जैन, कर्णवीर सिंग राजपूत, रिदिप्ता चांदुरकर, नैना भारती ने सुंदर नृत्य प्रस्तुत किया।

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